हेलो! फ्रेंडस, मेरा नाम राशि साहू है और आज के हमारे इस आर्टिकल में आपका स्वागत है। जैसा कि आप सभी जानते हैं, माइग्रेन एक आम समस्या है। आज के हमारे इस आर्टिकल हम आपको माइग्रेन माइग्रेन से संबंधित जानकरी देंगे और इसके लक्षणों के बारे में बताएंगे।
माइग्रेन एक प्रकार का सिरदर्द होता है और यह मस्तिष्क में तंत्रिका तंत्र के विकार के कारण होता है। दरसल में माइग्रेन जो सिर में बार-बार होने वाला दर्द है जो खासकर सिर के आधे हिस्से को ही प्रभावित करती है। माइग्रेन होने पर मतली, उल्टी और प्रकाश तथा ध्वनि के प्रति संवेदनशीलता बढ़ा देता है। इसके आक्रमण की अवधि कुछ घंटों से लेकर कई दिनों की हो सकती है। वैसे तो माइग्रेन होने के सही कारण के बारे में उतना पता नहीं है, लेकिन इस स्थिति को आनुवांशिक माना जाता है।
Contents of table
▶️ माइग्रेन क्या होता है? (What is Migraine?) ▶️ माइग्रेन के लक्षण (Symptoms of Migraine) ▶️ माइग्रेन क्यों होता है? (Causes of Migraine) ▶️ माइग्रेन के प्रकार (Types of Migraine) ▶️ माइग्रेन से बचाव के उपाय (Prevention Tips for Migraine) |
1) माइग्रेन क्या होता है? (What is Migraine?)
माइग्रेन सिर्फ कोई मामूली सिर दर्द नहीं होता है ये एक प्रकार का Neurological Disorders है। जिसे अक्सर लोग हल्के में लेते है, जिसकी वजह से माइग्रेन का पेन बढ़ता चला जाता है और कई बार दौड़े पढ़ने की स्थिति भी आ जाती है अगर समय रहते माइग्रेन में दिखने वाले लक्षणों को पहचान लिया जाये तो सिर में भयंकर होने वाले दर्द से बचा जा सकता है। सिरदर्द होने पर Neurology से संबंधित समस्याएं बढ़ती है। तेज दर्द होने पर लंबे समय के बाद आराम मिलता है। न्यूरोलॉजिकल समस्याओं का सिर्फ दिमाग से ही नहीं गर्दन और कान से भी होता है इसलिए ब्रेन की MRI या CT Scan करवाने पर इसके असली कारण का पता चलता है।
2) माइग्रेन के लक्षण (Symptoms of Migraine)
आमतौर पर हम सभी को कभी न कभी सिरदर्द की शिकायत जरूर होती है। ऐसे में यह कैसे पहचाना जाए कि यह सामान्य सिरदर्द है या माइग्रेन के कारण होने वाला सिरदर्द? माइग्रेन के कारण होने वाले सिरदर्द की पहचान ‘ऑरा’ से होती है। ‘औरा’ एक दृश्य गड़बड़ी है, जिसमें रोगी को तेज रोशनी की रुक-रुक कर चमक, टेढ़ी-मेढ़ी रेखाएं दिखाई देती हैं और साथ ही आंखों के सामने दृष्टि का धुंधलापन दिखाई देता है। त्वचा में चुभन होती है और कमजोरी महसूस होने लगती है। आंखों के नीचे काले घेरे, गुस्सा, चिड़चिड़ापन, सिर के एक तरफ दर्द आदि इसके लक्षण हैं।
माइग्रेन एक Neurological समस्या है। इसमें रह-रहकर सिर में एक तरफ बहुत ही चुभन भरा दर्द होता है। यह दर्द कुछ घंटों से लेकर तीन दिन तक बना रहता है। इसमें सिरदर्द के साथ-साथ गैस्टिक, मितली, उल्टी जैसी समस्याएं भी हो सकती हैं। इसके अलावा माइग्रेन में रोशनी, तेज आवाज से परेशानी महसूस होती है। इनमें से कोई एक या ज्यादा लक्षणों को पहचानकर माइग्रेन का अंदाजा लगाया जा सकता है। लेकिन ध्यान रखें कि यही लक्षण किसी दूसरी बीमारी के भी हो सकते हैं।
3) माइग्रेन क्यों होता है? (Causes of Migraine)
माइग्रेन में सिर के एक हिस्से में तेज दर्द होता है, मानो कोई हथोड़ा मार रहा हो। यह दर्द सिर के आधे हिस्से में होता है तो कभी-कभी पूरे सिर में भी होने लगता है। दर्द की यह स्थिति कुछ घंटों से लेकर कुछ दिन तक बनी रह सकती है। इस दर्द को माइग्रेन, अधकपारी या अर्द्धशीशी कहते हैं। इसमें सिरदर्द के समय सिर के नीचे की धमनियां बढ़ जाती हैं। दर्द वाले हिस्से में सूजन भी आ जाती है।
4) माइग्रेन के प्रकार (Types of Migraine)
शायद आपको पता नहीं कि माइग्रेन भी मुख्य तौर पर दो तरह के होते हैं।
▶️ क्लासिक माइग्रेन (classic migraine)
क्लासिक माइग्रेन की स्थिति में बहुत सारे लक्षण ऐसे होते हैं, जो संकेत देते हैं कि आपको माइग्रेन का दौरा पड़ने वाला है, जैसे सिर दर्द की शुरुआत से पहले धुंधला दिखना, कुछ में कंधे में जकड़न व जलन के लक्षण भी देखने को मिलते हैं। क्लासिक माइग्रेन की अवस्था में रक्तवाहिनियां सिकुड़ने लगती है। ऐसे में डॉक्टर से तुरन्त सम्पर्क करना अच्छा होता है।
▶️ नॉन क्लासिक (Non classic )
माइग्रेन में समय-समय पर सिर में तेज दर्द होता है, पर अन्य लक्षण नजर नहीं आते। ऐसे में सिर दर्द की शुरुआत के साथ ही दर्द निवारक दवा लेना आराम पहुंचाता है।
माइग्रेन आपको किन किन कारणों से बना सकता है शिकार
1) | हर समय चिंता करना |
2) | ज्यादा तनाव लेना |
3) | पर्याप्त पानी ना पीना |
4) | दवाई के साइड इफैक्ट के कारण |
5) | सिरदर्द की दवाई बिना डॉक्टर के सलाह के लेने से |
5) माइग्रेन से बचाव के उपाय (Prevention Tips for Migraine)
माइग्रेन या बार-बार होने वाले माइग्रेन से बचने के लिए अपनी जीवनशैली और आहार में कुछ बदलाव करके माइग्रेन होने के जोखिम को कुछ हद तक कम किया जा सकता है-
- तापमान में बदलाव से हमेशा बचें, जैसे अगर आप गर्मियों में Air Conditioner का इस्तेमाल करते हैं, तो ठंडे से गर्म की तरफ न जाएं और तेज गर्मी से आने के बाद ज्यादा ठंडा पानी न पिएं।
- अगर आप गर्मी के मौसम में तेज धूप में बाहर निकल रहे हैं तो सूरज की सीधी रोशनी से बचे और धूप के चश्मे या छाते का इस्तेमाल करें।
- रोजाना 8 से 10 गिलास पानी जरूर पिएं वरना आपको हाइड्रेशन हो सकता है क्योंकि डायरिया माइग्रेन की समस्या का सबसे बड़ा कारण होता है इसलिए ज्यादा से ज्यादा पानी पिए।
- रोजाना सुबह जाएं, नंगे पांव घास पर जाएं क्योंकि इससे तनाव कम होता है और अगर तनाव कम रहेगा तो हारमोन्स भी संतुलन में रहेगा जिससे मेरा भी कम हो जाता है।
- रोजाना 30 मिनट तक योगासन या प्राणायाम जरूर करें इससे आपको काफी फायदा मिलेगा, रोजाना 10 मिनट मेडिटेशन करने से भी हमारे लिए काफी फायदेमंद होता है।
- माइग्रेन के मरीजों को तरल पदार्थ यानि सूप, नींबू पानी, नारियल पानी, छाछ, लस्सी आदि खूब पीना चाहिए।
- चाय, कॉफी और कोल्ड ड्रिंक आदि लेने से बचें। इन्हें लेने से माइग्रेन बढ़ सकता है।
- योग में बालासन, उत्तानासन, सेतुबंध सर्वांगासन, हलासन लाभ होता है।
हम आशा करते हैं। माइग्रेन के बारे में आपके लिए ये जानकरी मददगार होगी । यदि आप माइग्रेन से पीड़ित हैं, तो आप इस आर्टिकल के माध्यम से माइग्रेन से होने वाली समस्याओं से बच सकते हैं।